मोगा शहर की प्रसिद्ध शिक्षण संस्था ब्लूमिंग बड्स स्कूल में सुबह की सभा के दौरान ग्रुप चेयरमैन श्री संजीव कुमार सैनी व चेयरपर्सन मैडम कमल सैनी के नेतृत्व में विद्यार्थियों ने विश्व मलेरिया दिवस के बारे में इस दिन से संबंधित जानकारी साझा की। विद्यार्थियों ने इस दिन से संबंधित विभिन्न प्रकार के चार्ट, स्लोगन आदि बनाए। जानकारी साझा करते हुए उन्होंने बताया कि विश्व मलेरिया दिवस पहली बार 25 अप्रैल 2008 को मनाया गया था। इसे मनाने का उद्देश्य लोगों का ध्यान मलेरिया जैसी भयानक बीमारी की ओर केंद्रित करना है। जिसके कारण हर साल लाखों लोग मरते हैं। इस मुद्दे पर विश्व संगठन का कहना है कि मलेरिया नियंत्रण कार्यक्रम चलाकर कई लोगों की जान बचाई जा सकती है। उन्होंने इस महामारी से बचने के कई तरीके भी बताए। इस अवसर पर स्कूल की प्रिंसिपल डॉ. हमीलिया रानी ने कहा कि स्कूल में आने वाले विद्यार्थियों के स्वास्थ्य की जिम्मेदारी हमारी है, इसीलिए समय-समय पर स्कूल में फॉग स्प्रे किया जाता है, ताकि इस मलेरिया मच्छर को खत्म किया जा सके। उन्होंने कहा कि संस्था में तीन से चार फॉग मशीनों की विशेष व्यवस्था है। इस दौरान विद्यार्थियों को इससे बचाव के लिए सावधानियां बरतने और मौसम के अनुसार अपने स्वास्थ्य का ध्यान रखने, अपने आस-पास सफाई रखने के लिए प्रेरित किया गया। विद्यार्थियों को जागरूक किया गया कि वे अपने घरों में कूलरों का पानी लगातार बदलते रहें। किसी भी स्थान पर पानी जमा न होने दें। जिन स्थानों पर मच्छर अधिक हैं, वहां रात को सोने से पहले मच्छरदानी का प्रयोग करें। उन्होंने कहा कि हम सभी को इस भयंकर बीमारी के प्रति जागरूक होना चाहिए, ताकि इस बीमारी को खत्म किया जा सके और सरकार के साथ-साथ हमें भी इसमें अपना पूरा योगदान देना चाहिए। जिस प्रकार अभी गेहूं की कटाई का सीजन चल रहा है और मच्छरों की संख्या बढ़ती जा रही है। विद्यार्थियों को इस मलेरिया बीमारी से बचाने के लिए स्कूलों में समय-समय पर फॉग स्प्रे किया जाता है। फोटो कैप्शन: विश्व मलेरिया दिवस के अवसर पर चार्ट प्रस्तुत करते विद्यार्थी।

